शब-ए-बारात के आमाले नवाफिलरोज़े की फजीलतः शाबान की 15 तारीख को रोज़ा रखने की बड़ी फजीलत है।
शबे मेराज में कौन सी नमाज पढ़ी जाती है?शबे मेराज में नफ्ल की नमाज पढ़ी जाती है।
कज़ा नमाज़ की नियत क्यों जरूरी है?कज़ा नमाज़ की नियत कब करनी चाहिए?कज़ा नमाज़ की नियत कैसे करनी चाहिए?
क़ज़ा नमाज़ क्या होती है?क़ज़ा ए उमरी क्या है?5 Wakt Ki Qaza Namaz ki Niyat ka Tarika
पहले तो ये समझ लीजिए कि तहज्जुद असल में है क्या। ये एक नफ्ल नमाज़ है, यानी ऐसी नमाज़ जो फर्ज़ नहीं है
अस्सलामु अलैकुम वा रहमतुल्लाही वा बरकातुहू, अजीज़ कारीन-ए-नज़र, आज हम आप के साथ एक निहायत ही अहम और फज़ीलत वाले मौज़ू पर गुफ्तगू करेंगे
Juma Ki 4 Rakaat Sunnat Namaz Ki Niyat :- Niyat Ki Me Ne 4 Rakaat Sunnat Namaz Juma Ki Sunnat Rasoolallah Ki Waste Allah Talaa Ke Muh Mera Kaba Sharif Ki Taraf Allahu Akbar.















